ग्वालियर. दुकानें बन्द कराने पहुंचे महासभा के कार्यकर्ताओं की दुकानदारों से बहस भी हुई. इस बंद को कांग्रेस सहित अन्य संगठनों ने समर्थन दिया है. संगठन ने कहा कि आरक्षण पर महासभा की मांग नहीं मानी गई तो 2023 में विधानसभा चुनाव से पहले बड़ा जन आंदोलन किया जाएगा.भिंड में भी ओबीसी महासभा ने बंद कराया. करीब एक हजार से ज्यादा ओबीसी कार्यकर्ता बंद कराने सड़कों पर निकले. यहां महासभा के साथ-साथ कांग्रेस नेताओं ने भी जुलूस निकाला. इस दौरान एक शराब की दुकान खुली थी तो उसे बंद कराया. रैली में ओबीसी एकता के नारे लगाए गए. बता दें, महासभा ने प्रदेश बंद को लेकर चेतावनी जारी की थी. उसमें कहा गया था कि जो लोग बंद का समर्थन नहीं करेंगे उन्हें सबक सिखाया जाएगा.
गौरतलब है कि बंद के दौरान ग्वालियर में बड़ी संख्या में ओबीसी महासभा के कार्यकर्ता सड़कों पर निकले. इस दौरान मुरार क्षेत्र के सिंहपुर रोड इलाके में ओबीसी महासभा कार्यकर्ताओं और दुकानदारों के बीच गहमागहमी का माहौल भी देखने को मिला. महासभा के कार्यकर्ता दुकान बंद कराने की जिद पर अड़े हुए थे, वहीं दुकानदार दुकान को बंद करने के लिए कुछ समय की मांग कर रहे थे. इस बीच माहौल अचानक बिगड़ने लगा और पुलिस ने मोर्चा संभाला. पुलिस ने महासभा के कार्यकर्ताओं को तत्काल आगे की ओर बढ़ने के लिए कहा, तब कहीं जाकर मामला शांत हुआ. बन्द आव्हान को लेकर पुलिस प्रशास अलर्ट मोड दिखाई दिया. यही कारण है कि ग्वालियर में भी चौक चौराहों पर पुलिस बल की तैनाती की गई, ताकि किसी भी अप्रिय घटना को होने से रोका जा सके.
ओबीसी महासभा का कहना है कि भारतीय जनता पार्टी उनके साथ छलावा कर रही है. वह दिखावे के लिए ओबीसी को आरक्षण देने की बात कर रही है, जबकि जितनी उनकी आबादी है उस हिसाब से उन्हें आरक्षण नहीं दिया जा रहा. इसी बात का विरोध आज वे कर रहे हैं. भविष्य में भी ओबीसी महासभा अपने हक के लिए ऐसे प्रदर्शन जारी रखेगी. महासभा ने कहा कि 2023 में वह बड़ा जन आंदोलन करेगी.
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5159300cookie-checkएमपी बंद के दौरान ग्वालियर में बिगड़ा माहौल
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