अहमदाबाद| केंद्र सरकार ने राज्य के आदिवासियों के हितों की रक्षा करते हुए गुजरात के मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल के अनुरोध पर दमनगंगा-पार-तापी-नर्मदा लिंक परियोजना को रद्द कर दिया है। आदिवासी समुदाय और विपक्षी कांग्रेस लंबे समय से इस परियोजना का विरोध कर रहे थे, जो कांग्रेस विधायक अनंत पटेल के नेतृत्व में चल रहा था।
नदी परियोजना को रद्द करने की घोषणा करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि केंद्र सरकार को आदिवासी समुदाय के प्रतिनिधित्व और भावना से अवगत कराने के बाद परियोजना को सफलतापूर्वक रद्द कर दिया गया है कि नदियों के आसपास के आदिवासी क्षेत्र प्रभावित होंगे।
यह उल्लेख करते हुए कि इस योजना के लागू होने से दक्षिण गुजरात में कई आदिवासी विस्थापित हो जाएंगे, विपक्षी कांग्रेस ने आदिवासियों के बीच भ्रांतियां और गलत सूचना फैला दी थी।
आदिवासियों के हितों को प्राथमिकता देकर इस परियोजना को छोड़ दिया गया है।
गुजरात के आदिवासी विकास मंत्री नरेश पटेल ने कहा कि देश में कई नदी लिंक परियोजनाओं के साथ, तापी-नर्मदा परियोजना की भी घोषणा की गई थी और केंद्रीय बजट में वित्तीय प्रावधान किया गया था।
आदिवासियों के हित में दमनगंगा-पार-तापी-नर्मदा-लिंक परियोजना को रद्द कर दिया गया है, जिसकी घोषणा करने के लिए भूपेंद्र पटेल ने खुद दक्षिण गुजरात का दौरा किया था।
इस अवसर पर गृह राज्य मंत्री हर्ष संघवी, कृषि एवं ऊर्जा राज्य मंत्री मुकेश पटेल, जल संसाधन एवं जलापूर्ति राज्य मंत्री जीतूभाई चौधरी, सांसद एवं राज्य संगठन के अध्यक्ष सी. और कांति गामित और आदिवासी नेता भी उपस्थित थे।
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