Adani Vs Ambani: कोरोना महामारी ने तमाम लोगों को शून्य से शिखर पर तो कई को शिखर से शून्य पर पहुंचा दिया है. इस दौर में कई अरबपति भी अपनी पोजीशन से खिसक गए और उनकी जगह नए लोग आ गए हैं.
Adani Vs Ambani Earning: कोरोना की शुरुआत से पहले मुकेश अंबानी पर ही सबकी निगाहें टिकी हुईं थी, इस दौरान दौलत की रेस में 65 साल के अंबानी तमाम दिग्गजों को पीछे छोड़ते हुए नए आयाम छू रहे थे, लेकिन फिलहाल की बात करें तो अडानी ने इस साल की शुरुआत से कमाई करने की जो रफ्तार पकड़ी उसके आगे दुनिया के सबसे अमीर शख्स भी पीछे छूट गए.
दुनिया के शीर्ष अरबपतियों में शामिल भारत के दो दिग्गज उद्योगपतियों, रिलायंस इंडस्ट्रीज के चेयरमैन मुकेश अंबानी और अडानी समूह के चेयरमैन गौतम अडानी के बीच लंबे समय से रेस जारी है. जहां कोरोना महामारी की शुरुआत से पहले अंबानी टॉप-10 अमीरों की सूची में आगे चल रहे थे, वहीं कोरोना का प्रकोप थमने के बाद अब अडानी लगातार लंबी छलांग लगाते हुए दिखाई दे रहे हैं. आइए जानते हैं दोनों दिग्गज उद्योपतियों की उम्र, कमाई और कारोबार के बारे में सब कुछ.
अंबानी से कहीं आगे निकले अडानी
बीते दिनों आई एक रिपोर्ट के मुताबिक, साल 2022 में कमाई करने के मामले में अडानी सबसे आगे रहे हैं. जबकि अंबानी इस सूची में खिसककर नौंवें स्थान पर है. हालांकि, वह इस सूची में अपनी उपस्थिति लगातार दर्ज कराए हुए हैं.
59 वर्षीय गौतम अडानी दुनिया के छठे सबसे अमीर व्यक्ति बनने के साथ ही इस साल कमाई के मामले में भी अव्वल रहे हैं. रिपोर्ट के मुताबिक, उन्होंने 2022 की शुरुआत के बाद से अब तक अपनी संपत्ति में 30 अरब डॉलर का इजाफा किया है.
कमाई में अव्वल अडानी
इस तरह किसी भी अन्य उद्योगपति के मुकाबले उनकी संपत्ति में ज्यादा बढ़ोतरी हुई है. बिलेनियर इंडेक्स के ताजा आंकड़ों के अनुसार, खबर लिखे जाने तक उनकी कुल नेटवर्थ 104 अरब डॉलर है. हालांकि, दुनिया के सबसे अमीर शख्स के मुकाबले उनकी संपत्ति करीब 100 अरब डॉलर कम है.
यहां आपको ये भी बता दें कि टेस्ला और स्पेसएक्स जैसी कंपनियों के मालिक मस्क की नेटवर्थ 204.5 अरब डॉलर है. यहां बता दें कि अडानी ने इस साल मुकेश अंबानी से 10 अरब डॉलर ज्यादा कमाई की है.
पिछले साल किए 32 अधिग्रहण
खबरों के मुताबिक, गौतम अडानी लगातार अपने कारोबार का विस्तार करते जा रहे हैं. हाल ही में उन्होंने सीमेंट कारोबार में दमदार एंट्री कर इस सेक्टर में दूसरे पायदान पर अपनी जगह बनाई है. बता दें कि अडानी ने 10.5 अरब डॉलर में होल्सिम लिमिटेड के भारतीय कारोबार के अधिग्रहण को लेकर एक बड़ा सौदा किया है. गौरतलब है कि होल्सिम लिमिटेड भारत में एसीसी और अंबुजा ब्रांड नाम से सीमेंट बेचती है.
होल्सिम के भारतीय कारोबार का अधिग्रहण करने के बाद अडानी समूह की सीमेंट कंपनी देश की दूसरी सबसे बड़ी सीमेंट कंपनी बन जाएगी. इसके अलावा रिपोर्ट में बताया गया कि अडानी ने पिछले एक साल में 17 अरब डॉलर में 32 अधिग्रहण किए हैं. इसके बाद भी उनकी रफ्तार धीमी होती नजर नहीं आ रही है, जबकि उनकी सभी लिस्टेड कंपनियों का कुल कर्ज करीब 20 अरब डॉलर तक पहुंच गया है.
अडानी की 7 कंपनियां लिस्टेड
गौतम अडानी के नेतृत्व वाली समूह की सात कंपनियां शेयर बाजार में लिस्टेड हैं. इनमें से फिलहाल, छह कंपनियां ऐसी हैं जिनका मार्केट कैप (बाजार पूंजीकरण) 1 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा है. बीएसई (BSE) में लिस्टेड कंपनियों के बारे में बात करें तो अडानी इंटरप्राइजेज, अडानी पोर्ट्स, अडानी पॉवर, अडानी टोटल गैस, अडानी ग्रीन एनर्जी, अडानी ट्रांसमिशन और अडानी विल्मर हैं.
बीते दिनों ही अडानी पावर का बाजार पूंजीकरण 1 लाख करोड़ रुपये के पार पहुंचा था. इसके साथ ही बात करें मुकेश अंबानी की तो उनकी कंपनी रिलायंस इंडस्ट्रीज बीते दिनों ही 19 लाख करोड़ बाजार मूल्य वाली देश की पहली कंपनी बनकर उभरी थी.
इस कारोबार में दोनों लगा रहे हैं दांव
कारोबार की बात करें तो दुनियाभर में अंबानी और अडानी के कारोबार का डंका बज रहा है. वर्तमान में दोनों उद्योगपतियों का पूरा फोकस रिन्यूबल एनर्जी पर दांव लगा रहे हैं.इस वजह से आने वाले समय में दोनों को इस चीज के लिए मार्केट से रिवॉर्ड मिल सकता है.
हालांकि, रिपोर्ट की मानें तो इस क्षेत्र में निवेशक गौतम अडानी को ज्यादा तरजीह दे रहे हैं. बता दें कि अडानी के कारोबार की दस्तक बंदरगाहों से लेकर घर की रसोई तक में है. वहीं मुकेश अंबानी टेलीकॉम सेक्टर से लेकर रिटेल सेक्टर तक अपना दबदबा कायम रखे हुए हैं. फिलहाल अडानी ग्रुप की कंपनियों के शेयरों में एक-दो को छोड़कर तेजी देखने को मिल रही है.
अंबानी के नाम रहा था 2020
साल 2020 को कोरोना महामारी के चलते पैदा हुई चुनौतियों के लिए जाना जाएगा. लेकिन इस अवधि में मुकेश अंबानी ने भी कई नए कीर्तिमान अपने नाम किए थे. इसी साल मुकेश अंबानी ने ग्लोबल मर्जर एंड एक्विजिशन मार्केट से 27 अरब डॉलर की रकम जुटाई और रिलायंस को कर्जमुक्त कर दिया था.
अंबानी की कंपनी ने अपने डिजिटल कारोबार के लिए फेसबुक (मेटा) और अल्फाबेट इंक के जरिए पैसे जुटाए थे. इसके बाद अपने रिटेल चेन के लिए उन्होंने सिल्वर लेट पार्टनर्स, केकेआर एंड कंपनी इंक समेत अन्य से फंड इकठ्ठा किया था.
RIL की आगे की योजना
मुकेश अंबानी की आगे की बड़ी योजनाओं का जिक्र करें तो इसके तहत रिलायंस यानि RIL इस महीने के अंत तक एक बड़ी डील करने की तैयारी में है. दरअसल, रिलायंस ब्रिटेन की मेडिकल रिटेल चेन ‘बूट्स यूके’ के लिए बोली लगाने की तैयारी कर रही है. यह डील 10 अरब डॉलर तक की हो सकती है और इसके लिए अंबानी ने अपोलो ग्लोबल मैनेजमेंट इंक के साथ साझेदारी की है.
खबरों में कहा गया कि अगर यह सौदा पूरा होता है तो फिर मुकेश अंबानी की देश से बाहर यह सबसे बड़ी डील होगी. फिलहाल, अंबानी की कंपनी रिलायंस इंडस्ट्रीज के शेयरों को देखें तो वे हरे निशान पर कारोबार कर रहे हैं.
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