बाह और पिनाहट में फसल, खलिहान और तमाम घर तबाह हो चुके हैं। तबाही का ये दौर अभी थमा नहीं है। यहां दो किसानों के मकान बाढ़ के पानी की वजह से गिर गए।चंबल की लहरें भले ही थम गईं हैं, लेकिन इसका प्रभाव ग्रामीणों पर कहर बनकर बरस रहा है।शुक्रवार को बाढ़ के पानी ने पिनाहट ब्लॉक के गांव उमरेठा में दो किसानों के घर को चपेट में ले लिया। देखते ही देखते दोनों मकान बाढ़ के पानी में धराशाही हो गए।चंबल में शुक्रवार को बाढ़ का पानी करीब 80 सेमी उतर गया।उफान थमने से लोगों ने राहत महसूस की है। हालांकि 20 गांव अभी भी पूरी तरह पानी से घिरे हैं। यहां फसल, खलिहान और तमाम घर तबाह हो चुके हैं। तबाही का ये दौर अभी थमा नहीं है। पिनाहट ब्लॉक के गांव उमरेठा में अगनपाल और गोविन्द सिंह के मकान बाढ़ की वजह से भरभराकर गिर गए।ये देख परिवारीजनों में चीख पुकार मच गई। हादसे के दौरान दोनों घरों में कोई भी मौजूद नहीं था।

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