अशोकनगर: अशोकनगर जिले में रिस्पॉन्सिबल टूरिज्म मिशन के तहत तीन गांवों का नाम सामने आया है। इन गांवों में पर्यटन का बढ़ावा देने के बारे में जागरूक किया जा रहा है। इन गांव के लोगों को भी इस बात की जानकारी लगी तो उनमें भी उत्साह है। एक गांव में पहला प्रशिक्षण दिया गया।एमपी के गांवों के जनजीवन को पर्यटन से जोड़ने के लिए विभाग ने शुरूआत कर दी है। पूरे प्रदेश से 100 गांवों का चयन किया गया है। इनमें तीन गांव अशोकनगर जिले के पर्यटन नगरी चंदेरी के पास के हैं। रिस्पॉन्सिबल टूरिज्म मिशन के तहत विक्रमपुर, नानौन एवं थूवोन में होम स्टे बनाए जाएंगे। यहां पर रहन सहन से लेकर यहां की कला, संस्कृति एवं खानपान से जुड़ी जीवन शैली को सीधे तौर पर जोड़ा जाएगा। ग्रामीणों को पर्यटकों के रहने खाने-पीने से लेकर ग्रामीण परिवेश से जोड़ने की जिम्मेदारी दी जाएगी।पहला हुआ प्रशिक्षणपर्यटन विभाग के द्वारा इसकी शुरुआत कर दी है। यहां पर सबसे पहले एक्सपोजर विजिट के तहत प्रशिक्षण के लिए प्रथम दल जिले की चंदेरी तहसील के विक्रमपुर गांव से ओरछा के लाडपुरा खास गांव में 31अक्टूबर से 1 नवंबर में संपन्न हुआ। इसके तहत पर्यटन विभाग द्वारा ग्रामीणों को प्रशिक्षण दिया जाएगा। और गांव को महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने काम होगा।गांव से ऐसे जुड़ेंगे पर्यटक● गांव में पर्यटकों को रुकने की व्यवस्था करने की जिम्मेदारी ग्रामीणों के जिम्मे होगी।● यहां पर उनके लिए वाहन से लेकर क्षेत्रीय भ्रमण भी ग्रामीणजन ही कराएंगे।● यहां की कला, संगीत, नृत्य से जोड़ने का जिम्मा भी ग्रामीण महिलाओं का ही होगा।• इस कामों के लिए उनकी शुल्क तय होगा और वे प्रशिक्षण लेकर बेहतर काम करेंगे।● ग्रामीण महिलाओं की मदद से महिला पर्यटकों को गांव के खानपान और धर्म से जोड़ा जाएगा।

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