कोटा: रिश्वत मांगने के 10 साल पुराने मामले में कोर्ट ने तत्कालीन पटवारी को सजा सुनाई है। भ्रष्टाचार निवारण न्यायालय (ACB कोर्ट) के न्यायाधीश प्रमोद कुमार मलिक ने आरोपी घासीलाल कोडप को 3 साल की सजा व 50 हजार के अर्थदंड से दंडित किया है। आरोपी पटवारी ने कृषि भूमि की पैमाइश करने, जमाबंदी व नक्शा ट्रेस की प्रमाणित नकल देने की एवज में 3 हजार की रिश्वत मांगी थी।सहायक निदेशक अभियोजन अशोक कुमार जोशी ने बताया 13 जनवरी 2012 को परिवादी दौलत निवासी रामगंजमंडी ने झालावाड़ एसीबी चौकी में शिकायत दी थी। जिसमें बताया था कि उसके पिता की पटवार क्षेत्र मंडा में कृषि भूमि है। जिसकी पैमाइश करवानी थी। जिसकी एवज में पटवारी घासीलाल कोडप ने 3 हजार की मांग की थी। पटवारी 2 हजार रुपए ले चुका था। लेकिन पटवारी ने जमीन की पैमाइश आधी अधूरी की। वो जमाबंदी की नकल व ट्रेस नक्शा प्रमाणित करके नहीं दे रहा था ,1 हजार रुपए और मांग रहा था।जिस पर शिकायत का सत्यापन करवाया गया। आरोपी के द्वारा रिश्वत मांगने के तथ्य की पुष्टि होने पर ट्रैप की कार्रवाई की गईम एसीबी की टीम ने 16 जनवरी 2012 को रामगंजमंडी रेलवे स्टेशन पर आरोपी घासीलाल कोडप को परिवादी से 1 हजार की रिश्वत लेते रंगे हाथों पकड़ा। रिश्वत की रकम उसकी शर्ट की जेब से बरामद हुई थी।

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