50 करोड़ घोटाले के आरोप में गिरफ्तार एक्सईएन व जेई कोर्ट में पेश, तीन दिन की रिमांड पर, घोटाले के बारे में की जाएगी पूछताछ
फरीदाबाद: इस घोटाले में अब तक हो चुकी चार गिरफ्तारी, घोटालेबाज ठेकेदार व चीफ इंजीनियर पहले ही हो चुके हैं गिरफ्तार। चारों को आमने-सामने बैठाकर विजिलेंस घोटाले के बारे में करेगी पूछताछ।नगर निगम में बगैर विकास कार्य किए 50 करोड़ के हुए घोटाले मामले में स्टेट विजिलेंस की टीम ने गुरुवार देर शाम नगर निगम के एक्सईएन रहे रमन शर्मा और जेई दीपक कुमार के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर उन्हें गिरफ्तार कर लिया था। शुक्रवार को दोनों आरोपियों को कोर्ट में पेश किया गया जहां से उन्हें तीन दिन की रिमांड पर लिया है। रिमांड के दौरान बल्लभगढ़ के पांच वार्डों में हुई गडबड़ी के बारे में पहले गिरफ्तार ठेकेदार सतवीर सिंह व चीफ इंजीनियर डीआर भास्कर को आमने सामने बैठाकर पूछताछ कर सकती है।बता दें कि गुरुवार को स्टेट विजिलेंस की टीम ने एक्सईएन रमन शर्मा और जेई दीपक कुमार के खिलाफ बल्लभगढ़ के 5 वार्डों में हुए विकास कार्यों में गड़बड़ी के मामले में दूसरी एफआइआर दर्ज की थी। दोनों को देरशाम गिरफ्तार कर लिया।इस मामले में चीफ इंजीनियर डीआर भास्कर और ठेकेदार सतवीर सिंह को पहले ही गिरफ्तार किया जा चुका है। एक्सईएन रमन शर्मा और जेई दीपक कुमार पहली एफईआर में अग्रिम जमानत मिली हुई थी।लेकिन अब विजिलेंस ने दूसरी एफआईआर दर्ज कर दोनों को गिरफ्तार कर लिया है। विजिलेंस के एडिशनल एसपी अनिल कुमार ने बताया कि दोनों आरोपियों को तीन दिन की रिमांड पर लिया गया है। उनसे घोटाले के संदर्भ में पूछताछ की जाएगी।अधिकांश समय फरीदाबाद में तैनात रहे रमन शर्मानगर निगम अधिकारियों की मानें तो एक्सईएन रमन शर्मा अपनी नौकरी के अधिकांश समय तक वह फरीदाबाद में ही तैनात रहे। मार्च 1986 में इन्हांेने बतौर जेई के पद पर नौकरी की शुरूआत की थी। 11 साल बाद जून 1997 में वह एसडीओ बन गए। 13 साल बाद मई 2010 को वह एसडीओ से एक्सईएन बन गए। सात साल बाद सितंबर 2017 में सुपरिटेंडिंग इंजीनियर और एक ही साल बाद अक्टूबर 2018 में प्रमोट होकर चीफ इंजीनियर तक पहुंच गए थे। जबकि जेई दीपक कुमार निगम में ट्यूवबेल हेल्पर था। उसे तत्काली चीफ इंजीनियर डीआर भास्कर ने जेई का चार्ज दे रखा था।

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