Delhi :बीमा नवीनीकरण का झांसा देकर 50 से अधिक लोगों से लाखों ठगे, गैंग के चार जालसाज गिरफ्तार – Delhi : Millions Cheated From More Than 50 People On The Pretext Of Insurance Renewal

गिरफ्त में आरोपी…
– फोटो : Ani
विस्तार
उत्तर-पूर्वी जिले की साइबर सेल पुलिस ने बीमा पॉलिसी के नवीनीकरण का झांसा देकर ठगी करने वाले गैंग का खुलासा किया है। पुलिस ने गैंग के चार जालसाज को गिरफ्तार किया है। आरोपियों के कब्जे से पुलिस ने 7 मोबाइल फोन, 10 सिम, 7 एटीएम कार्ड, 11 चेक बुक और एक पासबुक बरामद किया है। शुरुआती जांच में पता चला है कि आरोपी पिछले छह माह में 50 से अधिक लोगों से लाखों की ठगी कर चुके हैं। गिरफ्तार आरोपियों की पहचान शाहदरा निवासी राहुल शर्मा, न्यू अशोक नगर निवासी आमिर अंसारी, नोएडा सेक्टर 66 निवासी कालिम अंसारी और निखिल पाल के रूप में हुई है।
पुलिस अधिकारी ने बताया कि 22 जून को एक शख्स ने साइबर सेल में ठगी की शिकायत दी। उसने बताया कि प्रीमियम का भुगतान नहीं करने के कारण उसकी पीएनबी-मेटलाइफ बीमा पॉलिसी बंद कर दी गई थी। लगभग 6 महीने के बाद एक व्यक्ति का फोन आया जिसने प्रीमियम का भुगतान करने और पॉलिसी को नवीनीकरण करवाने का दावा किया।
आरोपी ने खुद को पीएनबी-मेटलाइफ का अधिकारी बताया और शिकायतकर्ता के ईमेल पर पॉलिसी कागजात भी भेजे। आरोपी ने पीड़ित से तीन किस्तों में 1.94 लाख रुपये ले लिए। आरोपी ने अधिक लाभ लेने के लिए पीड़ित को 2.50 लाख रुपये जमा करने के लिए कहा। पीड़ित को शक हो गया। पैसा जमा नहीं करने पर आरोपी ने पीड़ित का फोन उठाना बंद कर दिया। पीड़ित को अहसास हुआ कि उसके साथ ठगी की गई है।
निरीक्षक विजय कुमार के नेतृत्व में पुलिस टीम ने लाभार्थी के खाते के विवरण के बारे में जानकारी एकत्र की और तकनीकी निगरानी के आधार पर नोएडा, सहित यूपी के अन्य क्षेत्रों में छापे मारे। इसके बाद पुलिस ने स्थानीय जानकारी के आधार पर चार आरोपी को गिरफ्तार कर लिया।
बीमा कंपनी में काम करने के दौरान सीखा गुर
पूछताछ में पुलिस को पता चला कि राहुल शर्मा और आमिर अंसारी मुख्य सरगना थे। दोनों एक निजी बीमा कंपनी में काम करते थे। जहां से उन्होंने बीमा पॉलिसी जारी करने की तकनीक सीखी और डेटा एकत्र किया। काम करने के दौरान दोनों दोस्त बन गए और फिर नौकरी छोड़ने के बाद अपना काम शुरू किया। उनलोगों ने वैशाली, गाजियाबाद, यूपी में 12 हजार रुपये में किराए पर एक फ्लैट लिया। वह बीमा की तलाश कर रहे लोगों या जिनके पास पहले से ही प्रतिष्ठित कंपनियों की कुछ बीमा पॉलिसी हैं उनके नंबरों पर कॉल करते थे। वह खुद को पीएनबी-मेटलाइफ अधिकारियों के रूप में पेश करते थे। वह ईमेल पर नकली पॉलिसी कागजात भी भेजते थे।

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