Family Members Said For Kurukshetra Accident, Accident Done But Not Know Whole Body Turned Into Ashes – Amar Ujala Hindi News Live – Kurukshetra:परिजन बोले

कार में लगी आग
– फोटो : अमर उजाला
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बेरा नी भाई कौण-सा म्हारा छोरा है, यो जमाह ही माटी हो लिए। हाम्म नै तो एक्सीडेंट का बेरा लाग्या था। उरैं आकै बेरा पाट्या तो जमाह ही राख हो लिए। इब घर और गाम के लेका जावेंगे, देखते ही घर आला का कलेजा पाट जाग्या। यह कहना था मंगलवार शाम को पोस्टमार्टम हाउस के बाहर खड़े आदित्य, नितेश और गौरव का शव लेने आए परिजनों का। परिजनों को उनके लाडले की मौत तक की खबर नहीं थी। उनको सिर्फ हादसे की सूचना दी गई थी। यहां आकर उनको अपने बच्चाें की मौत की खबर लगी तो उनको विश्वास ही नहीं हुआ। शव देखते ही परिजन बिलख-बिलख कर रोने लगे।
दरअसल, सोमवार रात करीब सवा नौ बजे एनएच 152 डी पर संधौली गांव के निकट ट्राले से टकराकर स्विफ्ट कार में आग लगने आदित्य, नितेश और गौरव की दर्दनाक मौत हो गई थी। शव लेने के लिए पहुंचे परिजनों को संभालना मुश्किल हो रहा था। बड़ी मुश्किल से तीनों के शव की शिनाख्त हो पाई। इस दौरान परिजनों को उनके अंतिम संस्कार की चिंता सता रही थी, क्योंकि उनको शव लेकर 230 किलाेमीटर दूर जाना था।
उधर, कुरुक्षेत्र के निजी अस्पताल में उपचाराधीन आशीष के पिता ने बताया कि उसके मना करने के बाद भी आशीष अपने तीन दोस्तों के साथ शिमला हिप्र में नेवी में भर्ती की परीक्षा देने के लिए निकल गया था। उसकी सोमवार दोपहर करीब दो बजे आशीष से मोबाइल पर बातचीत हुई थी, तब उसने आशीष को परीक्षा केंद्र ज्यादा दूर होने के कारण परीक्षा देने से मना कर दिया था, मगर उसे क्या पता था कि रोहतक से 206 किलोमीटर दूर बड़ा हादसा उनको इंतजार कर रहा है।
माता-पिता की इकलौती संतान था गौरव
गौरव अपने माता-पिता की इकलौती संतान था। कुछ साल पहले उसके माता-पिता की भी मौत हो गई थी, जिसके बाद से वह अपने ताऊ और मामा के घर रहता था। फिलहाल वह रोहतक में पढ़ने के दौरान पीजी में रहता था। गौरव की मौत की सूचना पाकर उसके ताऊ और मामा के परिवार को बड़ा सदमा लगा, क्योंकि दोनों ही परिवार के लिए गौरव उसके माता-पिता की इकलौती निशानी थी।
इंस्टाग्राम पर हुई थी दोस्ती
गौरव, आदित्य, आशीष और नितेश रोहतक में बीए द्वितीय वर्ष के छात्र थे। गौरव व आदित्य रोहतक के पं. नेकीराम शर्मा कॉलेज और नितेश और आशीष ऑल इंडियन जाट कॉलेज में पढ़ते थे। चारों की इंस्टाग्राम पर दोस्ती हुई थी। 12वीं करने के बाद चारों रोहतक आकर एक ही पीजी में रहते थे। अलग-अलग कॉलेज में पढ़ने के बाद शाम को एक साथ बैठते थे।

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