Japan will speed up semiconductor industry in India and India will become the king of economy in the world/भारत के साथ सेमीकंडक्टर को रफ्तार देगा जापान, दुनिया में इकोनॉमी का बादशाह बनेगा हिंदुस्तान

जापान के विदेश मंत्री योशिमासा हयाशी के साथ एस जयशंकर।
भारत की इकोनॉमी अब तूफान बनने वाली है। भारतीय अर्थव्यवस्था को रफ्तार देने जापान भी साथ आ गया है। अब वह दिन दूर नहीं, जब भारत दुनिया की इकोनॉमी का बादशाह बन जाएगा। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी देश की अर्थव्यवस्था को तेजी से आगे बढ़ाने के लिए हर संभव कदम उठा रहे हैं। महज 9 वर्षों के कार्यकाल में ही उन्होंने देश को दुनिया की सबसे बड़ी पांचवीं अर्थव्यवस्था बना दिया है। साथ ही अब बहुत जल्द दुनिया की तीसरी अर्थव्यवस्था बनाने का दावा भी कर दिया है। भारत एक-एक पायदान तेजी से ऊपर उठ रहा है। पीएम मोदी की महत्वाकांक्षा जल्द ही पहले मुकाम पर पहुंचने की है। यह देख दुनिया हैरान है।
इस दिशा में एक कदम और आगे बढ़ते हुए भारत और जापान ने बृहस्पतिवार को रक्षा उपकरण तथा प्रौद्योगिकी के क्षेत्रों में सहयोग बढ़ाने के तरीकों के अलावा सेमीकंडक्टर जैसी अहम और उभरती प्रौद्योगिकियों में सहयोग की संभावना पर काम करना शुरू कर दिया है। विदेश मंत्री एस.जयशंकर और जापान के उनके समकक्ष योशिमासा हयाशी ने मुक्त, स्वतंत्र एवं समृद्ध हिंद-प्रशांत सुनिश्चित करने में भारत और जापान के बीच मजबूत और स्थायी साझेदारी को बढ़ाने में पूरा जोर लगा दिया है।
अगले 5 साल में 5 हजार अरब येन निवेश का लक्ष्य
विदेश मंत्रालय के अनुसार दोनों पक्षों ने 2022-27 में भारत में पांच हजार अरब येन जापानी निवेश का लक्ष्य रखा है। दोनों देशों के इरादे बता रहे हैं कि वह दुनिया को तेजी से मात देने वाले हैं। इतना ही नहीं भारत और जापान अपने रणनीतिक संबंधों की भी समीक्षा कर रहे हैं। ताकि इन्हें और मजबूती दी जा सके। कहा जा रहा है कि जापान के विदेश मंत्री इसी उद्देश्य से दो दिवसीय यात्रा पर भारत पहुंचे हैं। जयशंकर ने ट्वीट कर 15वें भारत-जापान रणनीतिक संवाद में चर्चा को सार्थक और व्यापक बताया।
भारत-जापान की स्ट्रैटेजिक पार्टनरशिप रक्षा उद्योग में करेगी विस्फोट
भारत और जापान ने अपनी 15वीं रणनीतिक वार्ता में रक्षा उद्योगों को भी बूम देना चाहते हैं। अब वैसे भी भारत मेक इन इंडिया से ऊपर उठकर मेक फॉर वर्ल्ड के सफर पर है। यानि भारत अब 75 से अधिक देशों को हथियारों की सप्लाई कर रहा है। भारत का रक्षा उद्योग जिस तेजी से छलांग लगा रहा है, उससे दुनिया हैरान है। यह देश की इकोनॉमी को बूस्ट करने में मददगार होगा। जापान से पहले अमेरिका और फ्रांस भारत के डिफेंस कोरिडोर में मिलकर काम करने का समझौता कर चुके हैं। भारत और जापान के दोनों मंत्रियों ने हिन्द-प्रशांत क्षेत्र में द्विपक्षीय संबंधों सहित विभिन्न विषयों पर भी विस्तृत चर्चा की है। वार्ता से पहले जयशंकर ने ट्वीट किया कि जापान के विदेश मंत्री योशिमासा हयाशी का नई दिल्ली की सुहानी शाम में स्वागत है। उन्होंने कहा, ‘‘15वीं भारत-जापान रणनीतिक वार्ता में समीक्षा होगी और हमारी विशेष रणनीति व वैश्विक साझेदारी का रास्ता तय होगा।’’ पिछले पांच महीनों में हयाशी की यह दूसरी भारत यात्रा है। (भाषा)
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