Mp News: Niti Aayog Ceo Subramaniam Said – Vision Document Will Be Prepared Keeping In Mind The Needs And Chal – Amar Ujala Hindi News Live

विकसित मध्य प्रदेश@2047 विजन डॉक्यूमेंट किक-स्टार्ट मीटिंग
– फोटो : अमर उजाला
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नीति आयोग के सीईओ बी.वी.आर. सुब्रमण्यम ने भोपाल में विकसित मध्यप्रदेश@2047 विजन डॉक्यूमेंट किक-स्टार्ट मीटिंग में कहा है कि यह भविष्य की आवश्यकताओं और चुनौतियों को दृष्टिगत रखते हुए सावधानीपूर्वक तैयार किया जाएगा। इसमें प्रदेश के मुख्य सचिव अनुराग जैन ने कहा कि किक-स्टार्ट मीटिंग मध्यप्रदेश के विकास का ठोस रोडमैप तैयार करने में महत्वपूर्ण होगी। प्रदेश के विकास के लिए तैयार किए जाने वाले रोडमैप के मद्देनजर हुई बैठक में बताया गया कि अगले पांच वर्षों में प्रदेश की जीडीपी 27.2 लाख करोड़ और 2047 तक इसे 250 लाख करोड़ तक पहुंचाने का लक्ष्य रखा गया है।
जैन ने कहा कि मध्यप्रदेश को 2047 तक आर्थिक, सांस्कृतिक और सामाजिक उन्नति का एक आदर्श राज्य बनेगा। प्रत्येक नागरिक को रोजगार, स्वास्थ्य, शिक्षा और जीवन की उच्च गुणवत्ता की सुविधा मिलेगी। मध्य प्रदेश आत्मनिर्भर और विकसित प्रदेश बनेगा। बैठक की शुरुआत योजना, आर्थिक एवं सांख्यिकी विभाग के प्रमुख सचिव संजय शुक्ल ने स्वागत भाषण दिया और धन्यवाद ज्ञापन राज्य नीति आयोग के मुख्य कार्यपालन अधिकारी ऋषि गर्ग ने दिया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 15 अगस्त 2023 के स्वतंत्रता दिवस भाषण के दौरान वर्ष 2047 तक भारत को एक विकसित राष्ट्र बनाने के संकल्प का आह्वान किया था। इसके तहत नीति आयोग के सहयोग से मध्यप्रदेश ने “विकसित मध्यप्रदेश@2047” विजन डॉक्यूमेंट तैयार करने की दिशा में कदम बढ़ाया है।
मप्र से गहरा भावनात्मक रिश्ता : सुब्रमण्यम
नीति आयोग के सीईओ सुब्रमण्यम ने कहा कि मध्य प्रदेश से उनका गहरा भावनात्मक जुड़ाव है। उन्होंने विजन डॉक्यूमेंट को भविष्य की जरूरतों और चुनौतियों के मद्देनजर सावधानीपूर्वक तैयार करने पर जोर दिया। सुब्रमण्यम ने कहा कि दस्तावेज को केवल वर्तमान आवश्यकताओं का संग्रह न बनाकर भविष्य की चुनौतियों और अवसरों का अनुमान लगाते हुए पांच-पांच वर्ष की योजना में विभाजित किया जाए। मुख्य सचिव जैन ने राज्य की प्राथमिकताओं और चुनौतियों पर चर्चा करते हुए बताया कि विजन डॉक्यूमेंट का निर्माण सिर्फ एक दस्तावेज नहीं होगा, बल्कि इसमें मध्यप्रदेश के विकास का एक ठोस रोडमैप तैयार किया जाएगा। जैन ने कहा कि अधिकारियों को गहन अध्ययन और राज्य के विभिन्न हितधारकों से संवाद कर विजन को जमीनी स्तर पर लागू करने की दिशा में जी-जान से कार्य करना होगा।
2047 तक 250 लाख करोड़ तक तक जीडीपी पहुंचाने का लक्ष्य
प्रमुख सचिव योजना, आर्थिक एवं सांख्यिकी के प्रमुख सचिव शुक्ल ने बताया कि विकसित मध्यप्रदेश का विजन कृषि, एमएसएमई, पर्यटन, स्वास्थ्य, और शिक्षा जैसे प्रमुख क्षेत्रों पर आधारित होगा। बैठक में फोकस क्षेत्रों में फार्मा, इलेक्ट्रॉनिक्स, और टेक्सटाइल के अलावा फूड प्रोसेसिंग में निवेश बढ़ाने की जरूरत पर भी चर्चा की गई। प्राइवेट एयरपोर्ट बनाने के प्रस्ताव पर चर्चा हुई। बाह्य एजेंसी बीसीजी (बोस्टन कंसल्टिंग ग्रुप) द्वारा मध्य प्रदेश का आर्थिक अध्ययन प्रस्तुत किया गया, जिसमें राज्य की वर्तमान जीडीपी 13.6 लाख करोड़ से अगले 5 वर्षों में इसे दोगुना कर 27.2 लाख करोड़ करने और 2047 तक 250 लाख करोड़ तक पहुंचाने का लक्ष्य है। बीसीजी के अनुसार, मध्य प्रदेश को औद्योगिक विकास, पर्यटन, कृषि और हरित ऊर्जा में अग्रणी राज्य बनाने के प्रयास होंगे।
शहरों के क्लस्टर बनाकर समग्र विकास किया जाएगा
बैठक में सुझाव दिया गया कि मध्य प्रदेश में विभिन्न क्षेत्रों में विकास के लिए युवाओं, विश्वविद्यालयों, और सरकारी संस्थाओं सहित विभिन्न आंतरिक और बाह्य हितधारकों के साथ संवाद बढ़ाना आवश्यक है। साथ ही, प्रत्येक पांच वर्षों के लक्ष्यों की दिशा में आगे बढ़ते हुए राज्य को एक बड़े औद्योगिक केंद्र और पर्यटन स्थल के रूप में विकसित करने की योजना बनाई गई है। शहरों का क्लस्टर बनाकर समग्र विकास किया जायेगा। बैठक में प्रमुख सचिवों और वरिष्ठ अधिकारियों ने मध्यप्रदेश के विकास लक्ष्यों को लेकर अपनी प्रतिबद्धता जताई। विजन डॉक्यूमेंट के माध्यम से अगले 25 वर्षों के लिए मध्यप्रदेश की आर्थिक, सामाजिक और सांस्कृतिक प्रगति का खाका तैयार किया जा रहा है, जो मध्यप्रदेश को देश के सबसे उन्नत और आत्म-निर्भर राज्यों में शामिल करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम होगा।

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