Punjab Panchayat Election Baljinder Singh Becom New Sarpanch In Khanpur Village Of Fatehgarh Sahib – Amar Ujala Hindi News Live

सरपंच बलजिंदर सिंह।
– फोटो : संवाद
विस्तार
पंजाब में मंगलवार को पंचायत चुनाव संपन्न हुए। कई पंचायतों में प्रत्याशियों के बीच कांटे की टक्कर रही। फिरोजपुर के गांव कोठे किली में सरपंच चुनाव जीती मां ने बेटे महज 24 वोटों से हराया। वहीं संगरूर जिले के गांव तोलावाल में सरपंच प्रत्याशी एक वोट के अंतर से चुनाव जीता है।
अब जो मामला सामना आया है वह इन सभी से परे हैं। पंजाब के जिला फतेहगढ़ साहिब के गांव खानपुर में सरपंच चुनाव के नतीजे ने हर किसी को चौंका दिया है। सरपंच चुनाव जीतने वाला प्रत्याशी बलजिंदर सिंह मतदान के दिन अपने गांव में ही नहीं थे। यहां तक कि परिवार ने भी उन्हें वोट नहीं डाला। क्योंकि उनका परिवार भी उनके साथ विदेश चला गया था। गांव के नए सरपंच बलजिंदर सिंह विदेश से लौटे तो वे गांव के नए सरपंच बन चुके थे।
पंजाब शिक्षा बोर्ड के सेवानिवृत्त अधिकारी सुपरिंटेंडेंट बलजिंदर सिंह पाकिस्तान के गुरुधामों में दर्शन करने गए थे और पंजाब के जिला फतेहगढ़ साहिब के गांव खानपुर में सरपंच का चुनाव जीत गए। वह अपने परिवार के साथ 4 अक्तूबर से पाकिस्तान के गुरुधामों की यात्रा पर निकले थे।
139 वोटों से जीते चुनाव
उन्होंने गांव खानपुर जिला फतेहगढ़ साहिब के सरपंच पद के लिए अपने प्रतिद्वंद्वी उम्मीदवार सतनाम सिंह को 139 वोटों के अंतर से हराकर चुनाव जीत लिया। बलजिंदर सिंह शिक्षा बोर्ड में गुरमति विचार सभा के अध्यक्ष और सेक्टर 66 मोहाली में गुरुद्वारा साहिब के अध्यक्ष भी रहे हैं। गांव खानपुर के ग्रामीणों के बहुमत से निर्णय लिया था कि बलजिंदर सिंह को सरपंच का चुनाव लड़ना चाहिए लेकिन उनकी पत्नी और बड़े भाई जोशा सिंह का पहले से ही पाकिस्तान में गुरुधामों का दौरा करने का कार्यक्रम था।
नामांकन भरने के बाद पाकिस्तान चले गए थे बलजिंदर सिंह
ग्रामीणों ने उनसे अपना कार्यक्रम रद्द करने और गांव की सरपंच का चुनाव लड़ने का अनुरोध किया, लेकिन बलजिंदर सिंह इन्कार कर दिया। गांव वालों ने फैसला किया कि बलजिंदर सिंह को सरपंच के चुनाव के लिए नामांकन भरना चाहिए और अपने नियमित कार्यक्रम के मुताबिक पाकिस्तान जाना चाहिए। बलजिंदर सिंह नामांकन भरने के बाद परिवार सहित धार्मिक यात्रा पर चले गए थे।
गांववालों ने संभाल प्रचार की कमान
बलजिंदर सिंह के चुनाव प्रचार की मुहिम गांव के युवा और बुजुर्ग संभाली। पूरे चुनाव प्रचार के दौरान बलजिंदर सिंह प्रचार से दूर ही रहे। सरपंच बलजिंदर सिंह ने अपनी इस जीत के लिए गांववासियों और भगवान का धन्यवाद किया। उन्होंने ग्रामीणों को आश्वासन दिया है कि वे बिना किसी पक्षपात या पार्टी संबद्धता के गांव के कल्याण और विकास के लिए प्रयास करेंगे।

Comments are closed.