
आरएसएस। (फाइल)
– फोटो : अमर उजाला
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हरियाणा में भाजपा की हैट्रिक लगाने के लिए अब राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) भी मैदान में उतर गया है। अब संघ कार्यकर्ता हरियाणा में अंदर खाने भाजपा उम्मीदवार के पक्ष में माहौल बनाने का काम करेंगे। संघ का उन सीटों पर खास फोकस रहने वाला है जहां भाजपा थोड़ी कमजोर लग रही है।
भाजपा नेतृत्व का मानना है कि यदि इन सीटों पर पार्टी के साथ संघ कार्यकर्ताओं ने भी जोर लगाया तो परिणाम बदल सकता है। इसलिए आरएसएस ने अपने पारंपरिक तरीके से काम शुरू कर दिया है। आरएसएस कार्यकर्ता घर-घर जा रहे हैं। इसके साथ सार्वजनिक स्थलों पर भी केंद्र व राज्य सरकार की नीतियों पर चर्चा कर रहे हैं।
मतदान में बचे सात दिन
हरियाणा में मतदान के लिए अब सात दिन बचे हैं। भाजपा से जुड़े एक वरिष्ठ नेता ने बताया कि अंतिम दिनों में भाजपा ने स्टार प्रचारकों के साथ पन्ना प्रमुखों की बूथ लेवल पर सक्रियता बढ़ा दी है। इसी के साथ आरएसएस भी सक्रिय हो गई है। उनका एक सिद्धांत है कि जहां कम, वहां हम। इसके आधार पर वह उन सीटों पर जा रहे हैं, जहां भाजपा कमजोर दिख रही है। राज्य में यमुनानगर, अंबाला, पंचकूला, कुरुक्षेत्र, हिसार, सोनीपत और सिरसा जिलों में 23 से ज्यादा विधानसभा सीटें ऐसी हैं, जहां कड़ा मुकाबला है। यदि भाजपा ने इन सीटों पर बढ़त बना ली तो तीसरी बार सत्ता पाने का रास्ता आसान हो सकता है। भाजपा की आंतरिक रिपोर्ट के मुताबिक पार्टी ने पिछले कुछ दिनों में अपना चुनाव उठाया है। इसलिए शीर्ष नेतृत्व ने अब हरियाणा में पूरी ताकत झोंक दी है। आरएसएस की टीमों का भाजपा से कोई लेना-देना नहीं होगा। उनकी टीमें अलग से क्षेत्रों में जाएंगी।
भाजपा और आरएसएस के बीच हुई बैठकें
उल्लेखनीय है कि विधानसभा चुनाव से पहले भाजपा और आरएसएस के बीच कई समन्वय बैठकें हुई थीं, जिसमें उम्मीदवारों के चयन से लेकर बूथ स्तर के प्रबंधन पर चर्चा हुई थी। भाजपा ने आरएसएस के सुझाव को मानते हुए इस बार 25 से ज्यादा नए चेहरों को मैदान में उतारा है। ये सभी चेहरे चुनाव में बेहतर मुकाबले में हैं। वहीं, इस बार बूथ मैनेजमेंट में आरएसएस की टीमें भी लगेंगी। भाजपा कार्यकर्ताओं के साथ इस बार आरएसएस भी मतदाताओं को घर से लाने की जिम्मेदारी उठाएगा।

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